Friday, March 29, 2024
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प्रशासनिक विफलता और अनाचार में संलिप्त जेल अधीक्षक सस्पेंड

Sandeep Kumar suspended:खबरे आपकी

  • जेल से मोबाइल सहित अन्य आपत्तिजनक सामानों की बरामदगी में गिरी गाज
  • डीएम और एसपी की संयुक्त रिपोर्ट के आधार पर की गयी कार्रवाई
  • कारा अधीक्षक के खिलाफ प्रपत्र ‘क’ गठित कर विभागीय कार्रवाई करने का आदेश
  • निलंबित कारा अधीक्षक पर दबंग बंदियों से मिलीभगत का आरोप
  • जिला भू-अर्जन पदाधिकारी को दिया गया जेल अधीक्षक का प्रभार

खबरे आपकी आरा/भोजपुर: आरा मंडल कारा से मोबाइल सहित अन्य आपत्तिजनक सामानों की बरामदगी में बड़ी कार्रवाई हुई है। मंडल कारा अधीक्षक संदीप कुमार को सस्पेंड कर दिया गया। साथ ही उनके खिलाफ प्रपत्र ‘क’ गठित कर विभागीय कार्रवाई करने का भी आदेश दिया गया है। डीएम और एसपी की संयुक्त जांच रिपोर्ट के आधार पर यह कार्रवाई की गयी है। इस संबंध में गृह विभाग के कारा एवं सुधार सेवाएं निरीक्षणालय की ओर से आदेश जारी कर दिया गया है।

डॉ. शैलेंद्र कुमार
Holi Anand
Dr. Prabhat Prakash
Vishvaraj Hospital, Arrah
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इधर, संयुक्त सचिव सह निदेशक (प्र) रजनीश कुमार सिंह द्वारा आदेश जारी होने के बाद डीएम राजकुमार द्वारा भू-अर्जन पदाधिकारी को जेल अधीक्षक का प्रभार सौंपा गया है। संयुक्त सचिव द्वारा जारी आदेश में जेल अधीक्षक संदीप कुमार पर प्रशासनिक रूप से विफल रहने और दबंग बंदियों से मिलीभगत का भी आरोप लगाया गया है।

बता दें कि जिले में अपराधिक वारदात में जेल कनेक्शन सामने आने के बाद डीएम और एसपी के नेतृत्व में 29 नवंबर को जेल में छापेमारी की गयी थी। उस दौरान आठ मोबाइल बरामद किए गए थे। उसके बाद डीएम के निर्देश पर तीन दिनों तक ऑपरेशन क्लीन चलाया गया था। उस 35 मोबाइल और चार्जर सहित अन्य सामान बरामद किए गए थे। उस मामले में डीएम और एसपी की ओर से जांच रिपोर्ट भेजी गयी थी। वहीं उस मामले में जेल अधीक्षक की ओर से उप काराधीक्षक और कक्षपाल सहित पांच कर्मियों को पहले भी सस्पेंड कर दिया गया था।

Sandeep Kumar suspended: अधीक्षक पर दबंग कैदियों से मिल अवैध वसूली का आरोप

संयुक्त सचिव की ओर से जारी आदेश में कहा गया है कि जिला प्रशासन की ओर से जारी जांच प्रतिवेदन से स्पष्ट हो रहा है कि जेल की सम्पूर्ण प्रशासनिक व्यवस्था ध्वस्त हो गयी थी। कक्षपालों द्वारा भी दबंग बंदियों के साथ मिलकर अवैध वसूली और गुटबाजी करायी जा रही थी। यह भी आरोप लगाया गया है कि जेल में बंदी धनजी यादव और विनोद यादव का कुप्रभाव कायम था। उसके कारण कक्षपाल संवर्ग भी अपने दायित्व का निर्वहन में विफल हो रहा था। इन बंदियों द्वारा बेड चार्ज के नाम पर अवैध वसूली करने के साथ बंदियों को प्रताड़ित भी किया जा रहा था।

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aman singh
sambhavna

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