Arrah Sadar Hospital : आरा सदर अस्पताल के एक्स-रे कक्ष में गुरुवार को उपाधीक्षक कार्यालय के लिपिक एवं एक्स-रे विभाग के आॕपरेटर के बीच मारपीट के मामले ने तूल पकड़ लिया है।
- हाइलाइट्स: Arrah Sadar Hospital
- आरा सदर अस्पताल परिसर मारपीट मामला:
- सदर अस्पताल के लिपिक एवं एक्स-रे कक्ष के ऑपरेटर के बीच मारपीट में प्राथमिकी दर्ज
- दोनों पक्षों द्वारा थाने में एक-दूसरे की विरुद्ध लिखित आवेदन देकर दर्ज कराई गई प्राथमिकी
- उपाधीक्षक कार्यालय के लिपिक द्वारा आॕपरेटर समेत दो नामजद व चार-पांच अज्ञात पर दर्ज कराई प्राथमिकी
- एक्स-रे कक्ष के ऑपरेटर द्वारा क्लर्क को नामजद एवं 6-7 अज्ञात को बनाया गया आरोपित
Arrah Sadar Hospital: आरा सदर अस्पताल के एक्स-रे कक्ष में गुरुवार को उपाधीक्षक कार्यालय के लिपिक एवं एक्स-रे विभाग के आॕपरेटर के बीच मारपीट के मामले ने तूल पकड़ लिया है। इस मामले में दोनों पक्षों द्वारा एक-दूसरे के विरुद्ध थाने में लिखित आवेदन देकर प्राथमिकी दर्ज कराई गई है। दोनों पक्षों के आवेदन के अधार पर पुलिस ने गुरुवार को ही नगर थाना में केस रजिस्टर्ड कर ली गई।
सदर अस्पताल आरा के उपाधीक्षक कार्यालय के लिपिक द्वारा मारपीट करने, सरकारी कार्य में बाधा डालने एवं गले में सोने की चेन छीनने का आरोप लगाया है। जिसमें उन्होंने एक्स-रे कक्ष के ऑपरेटर रितिक कुमार सिंह, ब्रजेश सिंह के साथ चार-पांच अज्ञात के विरूद्ध एफआईआर दर्ज कराया है। वही एक्स-रे कक्ष के आॕपरेटर रितिक कुमार सिंह द्वारा पचास हजार रुपए रंगदारी मांगने, मारपीट कर सोने की चेन छीनने का आरोप लगाया है। उसने सदर अस्पताल के क्लर्क को नामजद तथा 6-7 अज्ञात को आरोपित बनाया है।
सदर अस्पताल के उपाधीक्षक कार्यालय के लिपिक सत्य प्रकाश यादव द्वारा दिए गए आवेदन में कहा गया है कि 12 फरवरी को अपराह्न करीब 12 से 1 बजे के बीच ईलाज हेतु अपने एक करीबी को लेकर ओपीडी में गया, वहां कार्यरत चिकित्सक द्वारा एक्स-रे लिखा गया। एक्स-रे करवाने के लिए जब वे एक्स-रे विभाग में गये, तो वहां कार्यरत स्टॉफ रितीक कुमार सिंह द्वारा कहा गया की अभी आपका एक्स-रे नहीं होगा, चाहे आप सिविल सर्जन या उपाधीक्षक के हीं स्टॉफ क्यों नहीं हो?
पढ़ें : एक्स-रे करने को लेकर स्वास्थ्य कर्मियों के बीच मारपीट, वीडियो वायरल
साथ ही गाली देते हुए रितीक कुमार सिंह एवं ब्रजेश सिंह द्वारा मारपीट की गई और गले से सोने (एक लाख साठ हजार रूपये) को गले से निकाल लिया गया, जिसकी सूचना उन्होंने मौखिक रूप में सीएस, उपाधीक्षक, डीपीएम एवं अस्पताल प्रबंधक से की। लेकिन कुछ भी कार्रवाई नहीं की गई। वहां से आने के बाद कार्यालय में बॉण्ड एवं संविदा चिकित्सक का विपत्र तैयार कर रहा था, तो अधीक्षक द्वारा हस्ताक्षर की गई प्रति को रितीक कुमार सिंह एवं ब्रजेश सिंह द्वारा फाड़ दिया गया एवं सरकारी कार्य में बाधा पहुँचाई गई। 13 फरवरी को जब वे कार्यालय में पहुँचे, तो उनके द्वारा चार-पांच अज्ञात लोगों के साथ मारपीट की गई, जिससे वह जख्मी हो गये।
वहीं दूसरे पक्ष के उदवंतनगर थाना क्षेत्र के जीरो माइल निवासी रितिक कुमार सिंह ने दर्ज प्राथमिकी में कहा है कि वह आरा सदर अस्पताल के अनिकरा फाउंडेशन द्वारा चलाए जा रहे एक्स-रे विभाग में ऑपरेटर के पद पर कार्यरत हैं। 12 फरवरी को करीब 11 बजे वह अपने कक्ष में काम कर रहे थे। तभी सदर अस्पताल के क्लर्क सत्य प्रकाश यादव कुछ अज्ञात लोगों के साथ आए और जबरदस्ती एक्स-रे रूम में घुसने का प्रयास करने लगे। सिक्योरिटी गार्ड ने उन्हें रोका। बावजूद इसके सभी एक्स-रे रूम में प्रवेश कर गए। कहने लगे कि मेरे आदमी का पहले एक्स-रे करो, नहीं तो तुम्हारा हाथ-पैर तोड़ देंगे।
मैंने उनसे कहा कि अभी दूसरे का दूसरे मरीज का एक्स-रे हो रहा है। थोड़ा इंतजार कर लीजिए। इसके बाद सत्य प्रकाश यादव द्वारा मेरा हाथ पकड़ कर बाहर खींचने लगा और कहा कि आज तुमको गोली मार देंगे। हो-हल्ला सुनकर वहां भीड़ इकट्ठा हो गई, जिससे उनकी जान बच गई 13 फरवरी की दोपहर करीब 1 दिन में सत्य प्रकाश यादव 6 अज्ञात लोगों के साथ अचानक एक्स-रे कक्ष में घुसकर मशीन वगैरह तोड़फोड़ करने लगा तथा मेरे साथ मारपीट किया।
इस दौरान मेरे गले से सोने का चेन 70 हजार का छीन लिया गया। तोड़फोड़ में एक्स-रे कक्ष में स्थापित मशीन वगैरह टूटने में काफी क्षति हुआ और एक्स-रे भी बंद है। घटना का मूल कारण है कि सत्य प्रकाश यादव अस्पताल के आसपास अपराधिक प्रवृत्ति के साथ मिलकर मेरे मालिक से रंगदारी लेना चाहते हैं। कई बार सत्य प्रकाश यादव मेरे मालिक को धमकी दिया है, कि जब तक 50 हजार रुपया महीना रंगदारी नहीं दोगे, तो एक्स-रे नहीं चलने देंगे। यह बात मेरे मालिक ने मुझे कई बार बताया था कि सत्य प्रकाश यादव से बचकर रहना।