Dani Yadav: भोजपुर के बिहिया थाने की पुलिस को बड़ी सफलता हाथ लगी है। पुलिस ने बुधवार को कुख्यात हिस्ट्रीशीटर दानी यादव को गिरफ्तार किया है।
- हाइलाइट्स: Dani Yadav
- बिहिया अस्पताल रोड से बुधवार को पकड़ा गया हिस्ट्रीशीटर
- आपराधिक घटना को अंजाम देने की फिराक में घूमने की सूचना पर पहुंची पुलिस ने दबोचा
- गिरफ्तार हिस्ट्रीशीटर के पास से एक देसी कट्टा और दो गोली बरामद
आरा/बिहिया: भोजपुर के बिहिया थाने की पुलिस को बड़ी सफलता हाथ लगी है। पुलिस ने बुधवार को कुख्यात हिस्ट्रीशीटर दानी यादव को गिरफ्तार किया है। उसके पास से एक देसी कट्टा और दो गोली भी बरामद की गयी है। दानी यादव बिहिया के अस्पताल रोड निवासी द्वारिका यादव का पुत्र है। उसके खिलाफ हत्या, डकैती, लूट और रंगदारी सहित करीब दो दर्जन से केस दर्ज हैं। अकेले बिहिया थाने में उसके विरुद्ध 17 मामले दर्ज हैं।
जमानत पर आने के बाद भी वह आपराधिक गतिविधियों में संलिप्त रहता था। उसका मुख्य पेशा रंगदारी वसूलना था। उस सिलसिले में वह गोलीबारी और हत्या जैसी घटनाओं को अंजाम देता था। उसे बुधवार को बिहिया के अस्पताल रोड से गिरफ्तार किया गया है। एसपी राज की ओर से प्रेस बयान जारी कर यह जानकारी दी गई।
बताया कि बुधवार की दोपहर सूचना मिली कि कुख्यात दानी यादव किसी वारदात को अंजाम की फिराक में अस्पताल रोड में हथियार के साथ घूम रहा है। उस आधार पर बिहिया थानाध्यक्ष आदित्य कुमार के नेतृत्व में पुलिस टीम द्वारा तत्काल घेराबंदी कर दानी यादव को गिरफ्तार कर लिया गया। तलाशी के दौरान यहां उसके पास से एक देसी कट्टा और दो गोली बरामद की गयी है। उससे पूछताछ की जा रही है। हथियार बरामदगी के मामले में उसके खिलाफ आर्म्स एक्ट के तहत प्राथमिकी दर्ज की गयी है।
पांच साल पूर्व पुलिस के साथ मुठभेड़ के बाद पकड़ा गया था दानी, तब लगी थी गोली
बिहिया का कुख्यात दानी यादव करीब 25 सालों से अपराध की दुनिया में सक्रिय रहा है। करीब दो दर्जन से आपराधिक मामले में दागी रहा है। कुछ मामलों में उसे सजा भी हो चुकी है, जबकि कुछ में चार्जशीटेड है, उसे पांच साल पूर्व पुलिस के साथ मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार किया गया था। पुलिस के अनुसार दानी यादव साल 2000 से ही आपराधिक कांडों में सक्रिय रहा था। पहली बार बक्सर रेल थाने में हत्या में उसका नाम आया था।
वह पहले ट्रेनों में लूटपाट और डकैती के अलावा हत्या सहित अन्य कांडों को अंजाम दिया करता था। बाद में उसने भोजपुर के जिले में भी अपनी सक्रियता बढ़ा दी थी। ऐसे में देखते ही देखते बक्सर और आरा रेल थाने के अलावा नवादा, टाउन बिहिया थाना, शाहपुर, उदवंतनगर थानों में केस दर्ज होते गए।
बता दें कि वह दो अक्टूबर 2018 को गांधी जयंती के दिन जमानत पर रिहा हुआ था। लेकिन, उसकी गतिविधियों को लेकर पुलिस की मुश्किलें बढ़ गई थी। उसके बाद बिहिया थानाध्यक्ष की ओर से उसके खिलाफ बिहार क्राइम कंट्रोल एक्ट के तहत सीसीए लगाने का प्रस्ताव एसपी के पास भेजा था। हालांकि कुछ दिनों के बाद रंगदारी मांगने में नाम सामने आने के बाद पुलिस द्वारा उसे गिरफ्तार कर लिया गया था ।