Thursday, November 21, 2024
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मुखिया हत्याकांड: गिरफ्तारी वारंट मिला, अब इश्तेहार की तैयारी

Sanjay Singh murder case: कोर्ट पहुंची पुलिस, सोमवार तक इश्तेहार मिल जाने की संभावना

सोमवार तक आरोपितों ने नहीं किया सरेंडर, तो होगी कुर्की जब्ती की कार्रवाई

आरा। जिले के चरपोखरी प्रखंड की बाबूबांध पंचायत के मुखिया संजय सिंह हत्या में पुलिस की कार्रवाई तेज हो गयी है। छापेमारी के साथ कुर्की की प्रक्रिया भी शुरू कर दी गयी है। गिरफ्तारी वारंट मिलने के बाद पुलिस अब इश्तेहार की तैयारी में जुट गयी है। इसे ले पुलिस कोर्ट भी पहुंच चुकी है। सोमवार तक इश्तेहार भी मिल जाने की उम्मीद है। वहीं गिरफ्तारी वारंट मिलने के बाद छापेमारी तेज हो गयी है। फरार आरोपितों के हर ठिकानों पर दबिश बढ़ा दी गयी है।

Sanjay Singh murder case: गिरफ्तारी वारंट मिलने के बाद तेज हुई छापेमारी, हर ठिकानों पर दबिश

Sanjay Singh murder case
Sanjay Singh

एसपी विनय तिवारी ने बताया कि गिरफ्तारी वारंट मिल चुका है। तामिला करा दिया गया है। सोमवार तक इश्तेहार मिल जायेगा। उसी दिन तामिल भी करा दिया जायेगा। उसके बाद कुर्की की कार्रवाई की जायेगी। उन्होंने बताया कि फरार आरोपितों की धरपकड़ को छापेमारी भी की जा रही है।

खबरे आपकी बता दें कि 15 नवंबर की दोपहर करीब दो बजे चरपोखरी थाना क्षेत्र के प्रीतमपुर और भलुआना गांव के बीच बजेन गांव निवासी मुखिया संजय सिंह की गोली मार कर हत्या कर दी गयी थी। उसके बाद से एसपी विनय द्वारा गठित स्पेशल टीम आरोपितों की गिरफ्तारी में जुटी है। हत्या के बाद लाइनर समेत दो आरोपितों को गिरफ्तार भी कर लिया गया था। लेकिन मुख्य आरोपित पूर्व प्रमुख अनिल सिंह और उनके बेटों सहित छह अभियुक्त अभी भी फरार चल रहे हैं। 

हत्याकांड में शामिल रहे अपराधियों को संरक्षण देने वाले चिन्हित

मुखिया हत्याकांड में पुलिस अपराधियों को संरक्षण देने वालों की सरगर्मी से खोज रही है। सूत्रों की मानें तो हत्या के बाद अपराधियों और कुछ आरोपितों को भगाने मे मदद एवं संरक्षण देने वालों को पुलिस ने चिन्हित भी कर लिया है। इसके लिये रास्‌ते में लगे सीसीटीवी और मोबाइल सर्विलांस की मदद ली जा रही है। कहा जा रहा है कि रास्ते में लगे कुछ सीसीटीवी फुटेज में आरोपितों के भागने के क्लू मिले हैं। उसमें भगाने वालों की पहचान भी कर ली गयी है। अब उस आधार पर पुलिस छापेमारी कर रही है। पुलिस की मानें तो हत्या के समय घटनास्थल पर मौजूद अपराधियों की भी पहचान हो गयी है। सूत्रों के अनुसार हत्या में कुछ अन्य लोगों की संलिपत्ता भी आ सामने आ सकती है। पुलिस भी इससे इनकार नहीं कर रही है।

पढ़ें: भोजपुर में आठ साल के दौरान मारे गये चार मुखिया, तीन बने गोलियों के शिकार

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